सरकारी स्कूल में बच्चों के स्वास्थ्य से गंभीर खिलवाड़, कुत्ते का जूठा खाना परोसने के बाद 84 छात्रों को लगे एंटी-रेबीज इंजेक्शन

सरकारी स्कूल में बच्चों के स्वास्थ्य से गंभीर खिलवाड़, कुत्ते का जूठा खाना परोसने के बाद 84 छात्रों को लगे एंटी-रेबीज इंजेक्शन
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मुख्य सुर्खियां:
बलौदाबाजार के सरकारी स्कूल में मध्याह्न भोजन में बड़ी लापरवाही।
सब्जी की कड़ाही को कुत्ते ने किया था जूठा, फिर भी बच्चों को परोसा गया खाना।
मामला सामने आने पर मचा हड़कंप, 84 बच्चों को लगवानी पड़ी एंटी-रेबीज की वैक्सीन।
प्रशासन ने महिला स्व-सहायता समूह को किया बर्खास्त, जांच के आदेश।
बलौदाबाजार: सरकारी स्कूल में बच्चों के स्वास्थ्य से गंभीर खिलवाड़, छत्तीसगढ़ के बलौदाबाजार जिले से एक बेहद चौंकाने वाला और गंभीर मामला सामने आया है, जहां एक सरकारी स्कूल में बच्चों के स्वास्थ्य के साथ घोर लापरवाही की गई। यहां मध्याह्न भोजन (Mid-Day Meal) के दौरान छात्रों को कथित तौर पर कुत्ते का जूठा किया हुआ खाना परोस दिया गया। घटना का खुलासा होने के बाद प्रशासन में हड़कंप मच गया और आनन-फानन में 84 बच्चों को एहतियात के तौर पर एंटी-रेबीज के इंजेक्शन लगवाए गए।
क्या है पूरा मामला?
यह शर्मनाक घटना पलारी ब्लॉक के लच्छनपुर गांव के सरकारी मिडिल स्कूल की है। जानकारी के अनुसार, 28 जुलाई को जब स्कूल में बच्चों के लिए मध्याह्न भोजन तैयार किया जा रहा था, उसी दौरान एक कुत्ते ने सब्जी की कड़ाही में मुंह डाल दिया। आरोप है कि इस बात की जानकारी होने के बावजूद भोजन बनाने वाले जय लक्ष्मी स्व-सहायता समूह ने वही खाना बच्चों को परोस दिया। जब बच्चे स्कूल से घर लौटे तो उन्होंने अपने माता-पिता को इस पूरी घटना के बारे में बताया, जिसके बाद अभिभावकों का गुस्सा फूट पड़ा।सरकारी स्कूल में बच्चों के स्वास्थ्य से गंभीर खिलवाड़
शिक्षकों का दावा और समूह की लापरवाही
गुस्साए ग्रामीणों और अभिभावकों ने स्कूल पहुंचकर शिक्षकों और स्कूल विकास समिति के अध्यक्ष से इस मामले की शिकायत की। स्कूल के शिक्षकों का कहना है कि उन्हें इस बात की जानकारी थी कि सब्जी को कुत्ते ने जूठा कर दिया है। उन्होंने तत्काल रसोइयों को यह भोजन बच्चों को परोसने से मना किया था, लेकिन स्व-सहायता समूह ने उनकी बात को अनसुना कर दिया और वही दूषित भोजन छात्रों को खिला दिया।सरकारी स्कूल में बच्चों के स्वास्थ्य से गंभीर खिलवाड़
प्रशासन ने लिया तत्काल एक्शन
मामले की गंभीरता को देखते हुए कलेक्टर दीपक सोनी ने तुरंत संज्ञान लिया। उन्होंने जिला शिक्षा अधिकारी, स्कूल के प्रधानपाठक और संकुल समन्वयक को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। इसके साथ ही पूरे मामले की जांच के लिए एक टीम का गठन भी कर दिया गया है। पहली कार्रवाई के तौर पर भोजन बनाने वाले स्व-सहायता समूह को काम से हटा दिया गया है। सबसे महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए, स्वास्थ्य विभाग की मदद से उन सभी 84 बच्चों को एंटी-रेबीज का इंजेक्शन लगाया गया, जिन्होंने उस दिन भोजन किया था।सरकारी स्कूल में बच्चों के स्वास्थ्य से गंभीर खिलवाड़
मामले ने पकड़ा राजनीतिक तूल
यह गंभीर मामला अब राजनीतिक तूल भी पकड़ चुका है। स्थानीय विधायक संदीप साहू ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर इस घटना की उच्च-स्तरीय जांच और दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की मांग की है। उन्होंने इस बात पर भी सवाल उठाया है कि आखिर किसके आदेश पर बच्चों को एंटी-रेबीज का इंजेक्शन लगाया गया। फिलहाल, जांच टीम मामले के हर पहलू की पड़ताल कर रही है।सरकारी स्कूल में बच्चों के स्वास्थ्य से गंभीर खिलवाड़









