छत्तीसगढ़ में लापरवाही पर मुख्यमंत्री का एक्शन: कार्यपालन अभियंता निलंबित, जिला शिक्षा अधिकारी हटाए गए
रायपुर, 19 मई 2025 (कृपया ध्यान दें: मूल लेख में यह भविष्य की तारीख है, इसे वर्तमान घटना के संदर्भ में समझा जाना चाहिए)। छत्तीसगढ़ में ‘सुशासन तिहार’ के अवसर पर मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने शासकीय कार्यों में कोताही और लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों के खिलाफ कड़ा रुख अख्तियार किया है। इसी क्रम में, उन्होंने दो महत्वपूर्ण मामलों में तत्काल कार्रवाई करते हुए एक कार्यपालन अभियंता को निलंबित करने और एक जिला शिक्षा अधिकारी को उनके पद से हटाने के निर्देश जारी किए हैं।छत्तीसगढ़ में लापरवाही पर मुख्यमंत्री का एक्शन
सिंचाई परियोजनाओं में देरी: कार्यपालन अभियंता पर गिरी गाज
मुख्यमंत्री श्री साय ने मुंगेली जिले में जल संसाधन विभाग के कार्यपालन अभियंता (EE) श्री आर.के. मिश्रा को तत्काल प्रभाव से निलंबित करने का आदेश दिया है। यह कार्रवाई मनियारी जलाशय और पथरिया जलाशय जैसी महत्वपूर्ण सिंचाई परियोजनाओं के निर्माण में हो रही अत्यधिक देरी और लापरवाही के मद्देनजर की गई है। मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि इन परियोजनाओं का वर्षों से अधूरा पड़ा रहना स्वीकार्य नहीं है और यह अधिकारियों की कार्य के प्रति उदासीनता को दर्शाता है।छत्तीसगढ़ में लापरवाही पर मुख्यमंत्री का एक्शन
खराब परीक्षा परिणाम: जिला शिक्षा अधिकारी को हटाया गया
एक अन्य महत्वपूर्ण निर्णय में, मुख्यमंत्री श्री साय ने गौरेला-पेंड्रा-मरवाही (GPM) जिले के जिला शिक्षा अधिकारी (DEO) श्री जगदीश कुमार शास्त्री को उनके पद से तत्काल हटाने का निर्देश दिया है। यह फैसला जिले में हाल ही में संपन्न हुई बोर्ड परीक्षाओं में छात्रों के निराशाजनक प्रदर्शन को देखते हुए लिया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि जिले का अत्यंत खराब परीक्षा परिणाम शिक्षा व्यवस्था में गंभीर खामियों की ओर इशारा करता है, और इस तरह की लापरवाही को किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।छत्तीसगढ़ में लापरवाही पर मुख्यमंत्री का एक्शन
मुख्यमंत्री का कड़ा संदेश: अब नहीं चलेगी लापरवाही
‘सुशासन तिहार’ के दौरान मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय द्वारा की गई यह त्वरित और कड़ी कार्रवाई प्रदेश के प्रशासनिक हलकों में एक स्पष्ट संदेश देती है। यह दर्शाता है कि राज्य सरकार शासकीय कार्यों में किसी भी प्रकार की शिथिलता, देरी और जवाबदेही से बचने की प्रवृत्ति को लेकर बेहद गंभीर है। मुख्यमंत्री के इस कड़े तेवर से यह साफ है कि अधिकारियों को अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन पूरी निष्ठा और समयबद्धता के साथ करना होगा, अन्यथा उन्हें इसी प्रकार की अनुशासनात्मक कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है।छत्तीसगढ़ में लापरवाही पर मुख्यमंत्री का एक्शन
यह कदम राज्य में एक कुशल, पारदर्शी और जवाबदेह प्रशासन सुनिश्चित करने की दिशा में मुख्यमंत्री की प्रतिबद्धता को रेखांकित करता है।छत्तीसगढ़ में लापरवाही पर मुख्यमंत्री का एक्शन