छत्तीसगढ़ में सियासी पारा हाई: शिक्षा पर कांग्रेस का ‘घेराव’, तो जश्न में डूबी बीजेपी, जानें किसका क्या है प्लान
Chhattisgarh Politics: छत्तीसगढ़ में राजनीतिक सरगर्मियां तेज हो गई हैं। एक तरफ जहां कांग्रेस, राज्य सरकार की शिक्षा नीति के खिलाफ “शिक्षा न्याय अभियान” के तहत सड़क पर उतरकर विरोध प्रदर्शन कर रही है, वहीं दूसरी ओर भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) केंद्र में मोदी सरकार के 10 साल पूरे होने और तीसरे कार्यकाल की शुरुआत का जश्न मनाने के लिए प्रदेशव्यापी अभियान चला रही है।छत्तीसगढ़ में सियासी पारा हाई
“शिक्षा न्याय अभियान”: युक्तियुक्तकरण के खिलाफ कांग्रेस का हल्ला-बोल
प्रदेश कांग्रेस कमेटी (PCC) ने सरकार की शिक्षा नीति, विशेषकर शिक्षकों के युक्तियुक्तकरण (Rationalization) के खिलाफ एक बड़ा मोर्चा खोल दिया है। कांग्रेस का आरोप है कि इस प्रक्रिया से शिक्षा व्यवस्था प्रभावित हो रही है। इसी के विरोध में “शिक्षा न्याय अभियान” की शुरुआत की गई है।छत्तीसगढ़ में सियासी पारा हाई
कांग्रेस का एक्शन प्लान:
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ब्लॉक स्तरीय घेराव: 9, 10 और 11 जून को प्रदेश के सभी ब्लॉकों में कांग्रेस कार्यकर्ता खंड शिक्षा अधिकारी (BEO) के कार्यालयों का घेराव करेंगे।
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जिला स्तरीय प्रदर्शन: अगले चरण में, कांग्रेस पार्टी यात्राएं निकालकर जिला शिक्षा अधिकारी (DEO) के कार्यालयों पर भी प्रदर्शन करेगी।
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बड़े नेता होंगे शामिल: इन विरोध प्रदर्शनों में पीसीसी चीफ दीपक बैज समेत कई वरिष्ठ कांग्रेसी नेता शामिल होकर सरकार को घेरने की कोशिश करेंगे।
जश्न में बीजेपी: मोदी सरकार के 10 साल पूरे होने पर “संकल्प से सिद्धि अभियान”
वहीं, सत्ताधारी दल बीजेपी केंद्र में अपनी सरकार की उपलब्धियों को जनता तक पहुंचाने के लिए एक बड़े अभियान की शुरुआत कर रही है। मोदी सरकार के सफल 10 साल पूरे होने और तीसरे कार्यकाल के आगाज के उपलक्ष्य में यह कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है।छत्तीसगढ़ में सियासी पारा हाई
बीजेपी का कार्यक्रम:
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अभियान का नाम: “संकल्प से सिद्धि अभियान”।
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अवधि: यह प्रदेशव्यापी कार्यक्रम 9 जून से 21 जून तक चलेगा।
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जन चौपाल का आयोजन: 15 से 17 जून के बीच पार्टी अपने शक्ति केंद्रों पर “जन चौपाल” लगाकर लोगों से संवाद करेगी और सरकार की योजनाओं की जानकारी देगी।
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कार्यशालाओं से तैयारी: इस बड़े अभियान को सफल बनाने के लिए बीजेपी ने सभी जिलों में कार्यशालाएं आयोजित कर पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं को उनकी जिम्मेदारियों के बारे में विस्तार से समझाया है।
इस तरह छत्तीसगढ़ में एक ही समय पर विपक्ष सरकार को घेरने की तैयारी में है, तो वहीं सत्ता पक्ष अपनी उपलब्धियों का जश्न मना रहा है, जिससे प्रदेश का राजनीतिक माहौल गरमा गया है।छत्तीसगढ़ में सियासी पारा हाई