सौरभ शर्मा का नाम घोटाले में, अजगर का पर्दाफाश बाकी
विजया पाठक, एडिटर, जगत विजन
मध्यप्रदेश में पूर्व परिवहन मंत्री और भाजपा नेता भूपेन्द्र सिंह का नाम एक और बड़े घोटाले में सामने आ रहा है। पहले नगरीय आवास विभाग में भ्रष्टाचार के आरोपों के बाद, अब परिवहन विभाग में हुए एक महाघोटाले के लिए भी उन पर सवाल उठाए जा रहे हैं। इस घोटाले के केंद्र में सौरभ शर्मा का नाम प्रमुखता से उभर रहा है। आरोप हैं कि यह सारा घोटाला भूपेन्द्र सिंह के इशारे पर ही हुआ। मध्यप्रदेश का परिवहन घोटाला: व्यापमं घोटाले से भी बड़ा मामला?
भूपेन्द्र सिंह और सौरभ शर्मा: क्या है कनेक्शन?
सौरभ शर्मा की नियुक्ति को लेकर कांग्रेस ने गंभीर आरोप लगाए हैं। उप नेता प्रतिपक्ष हेमंत कटारे ने दावा किया कि सौरभ शर्मा की अनुकंपा नियुक्ति नियमों के खिलाफ की गई। कटारे ने कहा कि दस्तावेज़ लोकायुक्त को सौंपे जाएंगे और भूपेन्द्र सिंह समेत संबंधित अधिकारियों पर कार्रवाई की मांग करेंगे।
कांग्रेस का कहना है कि सौरभ शर्मा पहले ही परिवहन विभाग में चेक पोस्ट पर उगाही का काम करता था, जिसे देखते हुए भूपेन्द्र सिंह ने उसे विभाग में नियुक्त किया। यहां तक कि आरक्षक होते हुए भी सौरभ को बड़े चेक पोस्ट का प्रभार दिया गया। मध्यप्रदेश का परिवहन घोटाला: व्यापमं घोटाले से भी बड़ा मामला?
सौरभ शर्मा फरार, लेकिन बड़े नामों पर चुप्पी क्यों?
सौरभ शर्मा अब तक पुलिस की पकड़ से बाहर है। सूत्रों के अनुसार, जानबूझकर उसे फरार रखा गया है ताकि बड़े नेताओं और अधिकारियों की पोल न खुले। भूपेन्द्र सिंह के स्टाफ में सेंगर के माध्यम से कलेक्शन का काम होता था। मध्यप्रदेश का परिवहन घोटाला: व्यापमं घोटाले से भी बड़ा मामला?
कमलनाथ और उमा भारती के गंभीर आरोप
पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने आरोप लगाया कि सौरभ शर्मा की नियुक्ति भूपेन्द्र सिंह की सिफारिश पर हुई और इसके लिए नियमों की अनदेखी की गई। उन्होंने लोकायुक्त से इस मामले में जांच की मांग की है।
वहीं, उमा भारती ने इस घोटाले को व्यापमं से भी बड़ा घोटाला करार दिया। उन्होंने कहा, “जिस घोटाले में सिपाही करोड़ों कमा सकता है, वहां अधिकारियों और नेताओं का अंदाजा लगाइए।” उन्होंने सौरभ शर्मा को “चूहा” और इस घोटाले के पीछे छिपे बड़े नामों को “अजगर” बताया। मध्यप्रदेश का परिवहन घोटाला: व्यापमं घोटाले से भी बड़ा मामला?
क्या होगा इस घोटाले का भविष्य?
मध्यप्रदेश के राजनीतिक गलियारों में यह मामला गर्माया हुआ है। सौरभ शर्मा का फरार रहना और भूपेन्द्र सिंह का इस मामले में संलिप्तता से इनकार करना, कई सवाल खड़े करता है। इस मामले में निष्पक्ष जांच की मांग तेज हो रही है। मध्यप्रदेश का परिवहन घोटाला: व्यापमं घोटाले से भी बड़ा मामला?