चमत्कार! 7 साल के बच्चे के पेट से निकला बालों का गुच्छा और धागा, अहमदाबाद सिविल के डॉक्टरों ने दी नई जिंदगी

अहमदाबाद: चमत्कार! 7 साल के बच्चे के पेट से निकला बालों का गुच्छा और धागा, अहमदाबाद सिविल के डॉक्टरों ने दी नई जिंदगी, एक हैरान कर देने वाले मामले में, अहमदाबाद के सिविल अस्पताल के डॉक्टरों ने मध्य प्रदेश के रतलाम के 7 वर्षीय शुभम निमाना के पेट और छोटी आंत से बालों का एक विशाल गुच्छा, घास और जूते के फीते का धागा (ट्राइकोबेज़ोअर) सफलतापूर्वक निकाल दिया है। यह एक अत्यंत दुर्लभ स्थिति है जो बच्चों में केवल 0.3-0.5% मामलों में पाई जाती है। अहमदाबाद सिविल में सफल ऑपरेशन के बाद अब बच्चा पूरी तरह स्वस्थ है और उसे अस्पताल से छुट्टी मिल चुकी है, जिसने चिकित्सा जगत में एक मिसाल कायम की है।
पेट दर्द और वजन घटने से परेशान था शुभम
अहमदाबाद सिविल अस्पताल के सुपरिटेंडेंट डॉ. राकेश जोशी ने बताया कि शुभम पिछले दो महीनों से लगातार पेट दर्द, उल्टी और तेजी से वजन घटने की समस्या से जूझ रहा था। मध्य प्रदेश के एक निजी अस्पताल में उसके इलाज पर लगभग 2 लाख रुपये खर्च करने के बावजूद उसे कोई राहत नहीं मिल पाई थी, जिससे उसके माता-पिता चिंतित थे।चमत्कार! 7 साल के बच्चे के पेट से निकला बालों का गुच्छा और धागा
अहमदाबाद सिविल में मिली नई उम्मीद
जब निजी अस्पताल में कोई समाधान नहीं मिला, तब बच्चे को अहमदाबाद के सिविल अस्पताल लाया गया। यहाँ डॉक्टरों की टीम ने तुरंत कार्रवाई की। बच्चे का सीटी स्कैन और एंडोस्कोपी करने पर पता चला कि उसके पेट में बालों का एक बड़ा गुच्छा और धागा मौजूद है, जिसे ‘ट्राइकोबेज़ोअर’ कहते हैं। यह स्थिति बच्चों द्वारा अनजाने में बाल या ऐसी ही अन्य वस्तुएं निगलने से पैदा होती है, जो पेट में जमा होकर एक गांठ का रूप ले लेती है।चमत्कार! 7 साल के बच्चे के पेट से निकला बालों का गुच्छा और धागा
जटिल सर्जरी और सफल परिणाम
प्रोफेसर डॉ. जयश्री रामजी के कुशल नेतृत्व में डॉक्टरों की टीम ने एक जटिल ‘एक्सप्लोरेटरी लैपरोटॉमी सर्जरी’ की। इस चुनौतीपूर्ण ऑपरेशन में गुच्छे को सफलतापूर्वक बाहर निकाला गया। एनेस्थीसिया का काम प्रोफेसर डॉ. शकुंतला गोस्वामी और एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. भरत माहेश्वरी की टीम ने संभाला, जिन्होंने ऑपरेशन को सफल बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।चमत्कार! 7 साल के बच्चे के पेट से निकला बालों का गुच्छा और धागा
ऑपरेशन के बाद, बच्चे को छह दिनों तक मुंह से कुछ भी खाने को नहीं दिया गया। सातवें दिन, पेट में किसी भी अवशेष की जाँच के लिए एक डाई टेस्ट किया गया, जिससे यह सुनिश्चित हो सके कि कोई भी समस्या शेष न रहे। इसके अतिरिक्त, बच्चे को भविष्य में ऐसी आदतें न पड़े, इसके लिए मनोचिकित्सक द्वारा काउंसलिंग भी की गई।चमत्कार! 7 साल के बच्चे के पेट से निकला बालों का गुच्छा और धागा
क्या है ट्राइकोबेज़ोअर?
डॉ. राकेश जोशी ने समझाया कि ट्राइकोबेज़ोअर बच्चों में होने वाली एक अत्यंत दुर्लभ समस्या है। उन्होंने बेज़ोअर के चार मुख्य प्रकार बताए:
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ट्राइकोबेज़ोअर: बालों का गुच्छा
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फाइटोबेज़ोअर: सब्जी या फल के रेशों का गुच्छा
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लैक्टोबेज़ोअर: दूध का गुच्छा
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फार्माकोबेज़ोअर: दवा का गुच्छा
ट्राइकोबेज़ोअर के लक्षण और बचाव
इस रोग के लक्षणों में बार-बार पेट में दर्द या सूजन, डकार और उल्टी, भूख न लगना, वजन कम होना, कब्ज या आंतों में रुकावट शामिल हैं। छोटे बेज़ोअर्स को एंडोस्कोपी द्वारा हटाया जा सकता है, जबकि बड़े गुच्छों के लिए सर्जरी की आवश्यकता होती है। ऐसे मामलों में मानसिक परामर्श भी बहुत महत्वपूर्ण होता है।चमत्कार! 7 साल के बच्चे के पेट से निकला बालों का गुच्छा और धागा
डॉ. राकेश जोशी ने माता-पिता को सलाह दी है कि:
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अपने बच्चों को बाल या अपरिचित वस्तुएं खाने की आदत पर तुरंत ध्यान दें।
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उन्हें भोजन को अच्छी तरह चबाना सिखाएं।
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नवजात शिशुओं को गाढ़ा दूध/फ़ॉर्मूला देने से बचें।
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बिना डॉक्टर की सलाह के अत्यधिक मात्रा में दवा न दें।
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यदि बच्चों को बार-बार पेट की समस्या हो तो तुरंत बाल रोग विशेषज्ञ से संपर्क करें।
शुभम अब स्वस्थ है और अपने घर लौट चुका है, जो अहमदाबाद सिविल अस्पताल की टीम के उत्कृष्ट प्रयासों का प्रमाण है।चमत्कार! 7 साल के बच्चे के पेट से निकला बालों का गुच्छा और धागा









