शराब की बोतल में पानी का सैंपल: पीलिया से त्रस्त चिरमिरी में स्वास्थ्य विभाग की अजीबोगरीब सैंपलिंग, लोगों ने उठाए सवाल

चिरमिरी/बैकुंठपुर: छत्तीसगढ़ के चिरमिरी नगर निगम क्षेत्र में पिछले तीन हफ्तों से फैले पीलिया के प्रकोप के बीच, जांच के लिए पहुंची ड्रग एवं फूड सेफ्टी विभाग की एक हरकत ने सभी को हैरान कर दिया है। स्थिति की गंभीरता का जायजा लेने पहुंची टीम ने पीने के पानी का सैंपल एक नामी ब्रांड की अंग्रेजी शराब की खाली बोतल में लिया। इस घटना के बाद स्थानीय लोगों में विभाग की कार्यप्रणाली को लेकर तरह-तरह की चर्चाएं हो रही हैं और वे इसे स्वास्थ्य जैसे गंभीर मुद्दे पर एक बड़ी लापरवाही बता रहे हैं।
मामला यह है कि चिरमिरी के छोटी बाजार सहित आधा दर्जन वार्डों में पीलिया का कहर जारी है, जिसमें अब तक 200 से अधिक लोग बीमार हो चुके हैं और दो मरीजों की दुखद मौत भी हो चुकी है। स्थिति की गंभीरता को देखते हुए रायपुर और अंबिकापुर से ड्रग एवं फूड सेफ्टी विभाग की एक टीम जांच के लिए चिरमिरी पहुंची थी। टीम ने पोड़ी स्थित फिल्टर प्लांट, पानी की टंकी और पीलिया प्रभावित घरों से पीने के पानी के सैंपल एकत्र किए।शराब की बोतल में पानी का सैंपल
हालांकि, जांच प्रक्रिया के दौरान टीम द्वारा पानी का सैंपल लेने के लिए शराब की बोतल का इस्तेमाल करने पर विवाद खड़ा हो गया। स्थानीय लोगों ने सवाल उठाया कि क्या विभाग के पास सैंपल इकट्ठा करने के लिए कोई और साफ कंटेनर नहीं था? लोगों का कहना है कि यह जनता के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ है और विभाग की लापरवाही को दर्शाता है। कुछ लोगों ने विभाग को “कंजूस” तक कह डाला। हालांकि, यह बताया गया कि बोतल पर किसी भी ब्रांड का लेबल नहीं लगा था, लेकिन बोतल का आकार और प्रकार स्पष्ट रूप से एक महंगी शराब की बोतल जैसा था।शराब की बोतल में पानी का सैंपल
3 दिन में आएगी जांच रिपोर्ट
अधिकारियों ने बताया कि एकत्र किए गए सभी सैंपल को कोल्ड चेन सिस्टम के जरिए रायपुर की माइक्रो-बायोलॉजिकल लैब में जांच के लिए भेजा गया है। फूड सेफ्टी ऑफिसर विनोद गुप्ता के अनुसार, जांच रिपोर्ट तीन दिनों के भीतर आने की उम्मीद है, जिसके बाद ही यह स्पष्ट हो पाएगा कि पानी दूषित है या नहीं।शराब की बोतल में पानी का सैंपल
स्वास्थ्य विभाग चला रहा है अभियान
한편, स्वास्थ्य विभाग की टीमें पिछले दो हफ्तों से प्रभावित क्षेत्रों में डोर-टू-डोर सर्वे कर रही हैं। अब तक 2294 से अधिक घरों का सर्वेक्षण कर 7725 लोगों के स्वास्थ्य की जांच की जा चुकी है। पीलिया के अधिकांश मरीज वार्ड क्रमांक 19, 20, 21, 22 और 23 से सामने आए हैं। लोगों को साफ पानी उपलब्ध कराने के लिए 20 टैंकरों से जलापूर्ति की जा रही है, लेकिन यह नाकाफी साबित हो रहा है। प्रशासन ने एसईसीएल और पीएचई को वैकल्पिक व्यवस्था करने के निर्देश दिए हैं।शराब की बोतल में पानी का सैंपल









